सड़क सुविधा से महरूम डूंगर गांव, 2022 में चुनाव करेंगे बहिष्कार
-संदीप बर्त्वाल /केदारखण्ड एक्सप्रेस
पोखरी। जनपद चमोली के विकासखण्ड नागनाथ पोखरी यू तो राजनीतिक गलियारों में हमेशा से ही चर्चा में रहता हैं परंतु विकास की गति घड़ी की सुई की तरह ही धीमी रही है। आलम यह है कि यहाँ आज भी कई गांव आधारभूत सुविधाओं की बाट जोह रहे हैं।
दरअसल जनपद चमोली के दूरस्थ क्षेत्र नागनाथ पोखरी के डूंगर गांव आजादी के 74 वर्षों और राज्य गठन के 20 वसंत बीत जाने के बाद भी सड़क सुविधा से महरूम है। कई सरकारें आई और गई, छुटभैय्या से लेकर भाजपा कांग्रेस के कई नेताओं की वोट की दौड़ इस गांव में लगा दी है लेकिन जीतने के बाद यहाँ के ग्रामीणों को उनके हाल पर छोड़ दिया जाता रहा है।
यहां के नवयुवक मंगलदल से जुड़े युवाओ ने सरकार से अपने गांव को सड़क से जोड़ने की गुहार लगाई हैं। उन्होनें कहा कि पूर्ववर्ती सरकार हो या फिर वर्तमान सरकार दोनो ने ही हमारे साथ वोट बैंक बटोर कर अपना उल्लु सीधा किया है। कई बार पत्राचार करने के बावजूद भी आज तक गांव को सड़क मार्ग से नहीं जोड़ा गया है। सिर्फ कोरे आश्वासनों से जनता को ठगा गया। एसे में ग्रामीण जनता सरकारों की घोर बेरुखी का दंश झेलने को विवश है।
युवा मयंक नेगी ने बताया आजादी के इतने वर्षों के बाद भी आज तक गांव में सड़क का न होना दुर्भाग्यपूर्ण हैं। हमारे गांव में तीसजुला पट्टी की आराध्य देवता उमा देवी का प्रसिद्ध मंदिर हैं जिसमे भक्तो की अटूट श्रद्धा है। बावजूद इसके सड़क के अभाव से पर्यटन की स्थिति में उम्मीद की किरण दिखती हुई नजर नही आ रही हैं। ऐसे में सरकार जल्द ही इस पर कार्यवाही नही करती हैं तो आगामी 2022 में पूरे ग्रामीणों के द्वारा विधान सभा चुनावों का बहिष्कार किया जाएगा।।
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